अपने अपने
हिस्से काट लीजिए
अपनों
को पहले जरा
छाँट लीजिए
हाथ में
आया है सरकारी
ख़जाना
दोस्तों
में आराम से
बाँट लीजिए
प्याले
भ्रष्टाचार
के मीठे हैं
बहुत
पीजिए साथ व दूरियाँ
पाट लीजिए
सभी ने
देखी हैं अपनी
संभावनाएँ
फिर आप
भी क्यों न
बाँट लीजिए
सार ये
बचा है कि
देश को
काट सको
जितना काट
लीजिए
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